पथुम निसंका की 98* ने श्रीलंका को जिम्बाब्वे के खिलाफ 9 विकेट से जीत दिलाई

पथुम निसंका की 98* ने श्रीलंका को जिम्बाब्वे के खिलाफ 9 विकेट से जीत दिलाई नव॰, 26 2025

जब पथुम निसंका ने 58 गेंदों में 98 रन बनाए और श्रीलंका को जिम्बाब्वे के खिलाफ 9 विकेट से जीत दिलाई, तो राहुल पिंडी क्रिकेट स्टेडियम में एक ऐसा मौका बन गया जिसे दर्शक भूल नहीं पाएंगे। यह मैच 25 नवंबर, 2025 को खेला गया था — केएफसी प्रिवेंट वोटल मोबाइल ट्राई नेशनल सीरीज 2025 का पांचवां मुकाबला — और इसमें श्रीलंका ने जिम्बाब्वे को सिर्फ 146 रनों पर रोक दिया, जिसके बाद उन्होंने एक ही विकेट के नुकसान पर लक्ष्य पूरा कर लिया। यह सिर्फ एक जीत नहीं थी... यह एक संदेश था।

जिम्बाब्वे की बल्लेबाजी धीमी, श्रीलंका की स्पिन ने बदल दी गेम

जिम्बाब्वे ने पहले बल्लेबाजी की और अपने 20 ओवरों में 146 रन बनाए — लेकिन यह रन स्कोर उनके लिए काफी कम रहा। 53 रन पर तीन विकेट गिरने के बाद टीम कभी भी तेजी से बल्लेबाजी नहीं कर पाई। ब्रैंडन टेलर का 14 रन का स्कोर उनकी बल्लेबाजी की निराशा का प्रतीक बन गया। जब उन्हें आउट किया गया, तो कमेंटेटर्स ने कहा, ‘यह श्रीलंका के कप्तान के लिए सबसे आसान विकेटों में से एक था।’

श्रीलंका की स्पिन बॉलिंग ने पूरी इनिंग्स को नियंत्रित कर लिया। वानिंदु हसरंगा ने अपने 4 ओवरों में 4 विकेट लेकर 46 रन दिए — एक ऐसा प्रदर्शन जो उन्हें मैन ऑफ द मैच का दावेदार बना देता है। एवन्स ने 36 रन पर एक विकेट लिया, जबकि अंड्रा की बॉलिंग बहुत महंगी रही — 3.2 ओवर में 44 रन दिए। जिम्बाब्वे के बल्लेबाजों को लगा जैसे गेंद बार-बार उनके बल्ले से टकरा रही हो, लेकिन कोई भी बड़ा शॉट नहीं लगा सका।

निसंका का शॉट जिसने टूर्नामेंट का रुख बदल दिया

श्रीलंका की बल्लेबाजी की शुरुआत एक ऐसे रन रेट से हुई जो लगभग 7.35 रन प्रति ओवर था — जो एक बड़ा दबाव लगाने वाला था। लेकिन जब पथुम निसंका ने बल्ला उठाया, तो दबाव गायब हो गया। उन्होंने सिर्फ 58 गेंदों में 98 रन बनाए — 10 चौके और 5 छक्के लगाए। उनकी बल्लेबाजी एक घड़ी की तरह चल रही थी — न तो जल्दबाजी, न ही बेकार की रिस्क।

उनके साथ दनुष्का गुनाथिलका मेंडिस ने 25 रन बिना आउट हुए बनाए। दोनों ने एक साथ 147 रन का टारगेट 19.2 ओवर में पूरा कर दिया। एक विकेट गिरा — जो अपने आप में एक रिकॉर्ड है। कमेंटेटर्स ने कहा, ‘वो लगभग पहुंच गए हैं... और अब वे आसानी से ऊपर चले गए।’

पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड की ओर से आयोजित टूर्नामेंट का महत्व

यह ट्राई नेशनल सीरीज 2025 पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (PCB) द्वारा आयोजित की जा रही है — जो इस वर्ष एक अनूठा अनुभव प्रदान कर रहा है। भारत और श्रीलंका के बीच की भावनात्मक दुश्मनी के बावजूद, यह टूर्नामेंट एक अच्छी तरह से ऑर्गनाइज किया गया है। राहुल पिंडी स्टेडियम में भीड़ ने न सिर्फ श्रीलंका का समर्थन किया, बल्कि टूर्नामेंट के आयोजन की तारीफ भी की।

इस टूर्नामेंट में श्रीलंका का यह तीसरा जीत है — जिससे उनकी टीम शीर्ष पर पहुंच गई है। जिम्बाब्वे अभी भी अपनी पहली जीत की तलाश में है। एक बार जब निसंका ने अपनी इस प्रदर्शन के साथ अपने नाम को टूर्नामेंट के इतिहास में दर्ज कर लिया, तो उनके लिए अगले मैच अब और भी बड़े चुनौती बन गए।

टीवी प्रसारण और डिजिटल रिएक्शन: जब क्रिकेट बन जाता है एक घटना

स्पोर्ट्स टीवी ने मैच के हाइलाइट्स को ‘Your Home for Current Matches’ के नाम से प्रसारित किया। उनका वीडियो 17 मिनट 29 सेकंड का था — और इसमें निसंका के छक्के, हसरंगा के विकेट और मेंडिस के निश्चित शॉट्स शामिल थे। साथ ही, डॉट रिपब्लिक मीडिया द्वारा संचालित स्पोर्ट्स सेंट्रल ने भी एक ही हाइलाइट्स प्रसारित किए।

सोशल मीडिया पर #CricketKiJeet और #SLvZIM ट्रेंड कर रहे थे। लोग निसंका के बल्ले को ‘एक जादुई छड़ी’ कह रहे थे। एक फैन ने लिखा, ‘अगर यह टीम इसी तरह खेलती रही, तो विश्व कप के लिए भारत के लिए बड़ी चुनौती बन जाएगी।’

क्या आगे कुछ और आश्चर्य है?

श्रीलंका की टीम अब एक अद्भुत आत्मविश्वास के साथ आगे बढ़ रही है। निसंका के बल्ले के साथ हसरंगा की स्पिन और मेंडिस की शांत बल्लेबाजी — यह तीनों अब टीम की तीन खंभे बन चुके हैं। अगला मैच किसी और टीम के खिलाफ होगा — लेकिन अब श्रीलंका के लिए यह नहीं सोचना होगा कि वे जीत सकते हैं... बल्कि वे कितने बड़े से जीत सकते हैं।

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

पथुम निसंका का यह प्रदर्शन उनके करियर में किस तरह का है?

यह निसंका के ट्वेंटी20 क्रिकेट में अब तक का सबसे बड़ा प्रदर्शन है। पिछले दो साल में उन्होंने केवल दो बार 90+ स्कोर बनाया है, और इस बार उन्होंने 58 गेंदों में 98 रन बनाए — जो उनकी तेजी और नियंत्रण की नई ऊंचाई है। यह उनकी पहली अपराजित नाबाद शतक से बहुत करीब है।

जिम्बाब्वे की टीम क्यों इतनी कमजोर रही?

जिम्बाब्वे के बल्लेबाजों को श्रीलंका की स्पिन बॉलिंग से निपटने में कठिनाई हुई। उनकी टीम के बल्लेबाजों में टी20 के तेज गेंदबाजों के खिलाफ अनुभव कम है। ब्रैंडन टेलर जैसे खिलाड़ियों के आउट होने के बाद टीम का मनोबल गिर गया, और उन्होंने अंत तक दबाव बनाने में असफलता पाई।

वानिंदु हसरंगा के चार विकेट क्यों इतने महत्वपूर्ण थे?

हसरंगा ने जिम्बाब्वे के टॉप ऑर्डर को जल्दी ही बाहर कर दिया — जिससे टीम का बल्लेबाजी रिदम बिगड़ गया। उनकी लेग-स्पिन ने बल्लेबाजों को भ्रमित किया, और उनके चार विकेट टीम के कुल 146 रनों का लगभग 30% थे। ऐसा प्रदर्शन टूर्नामेंट में अब तक का सबसे बेहतरीन है।

श्रीलंका की टीम अगले मैच में क्या अपेक्षा की जा रही है?

अगला मैच श्रीलंका के खिलाफ किसी और टीम के खिलाफ होगा, लेकिन अब उनकी टीम को अपनी बल्लेबाजी की स्थिरता बनाए रखनी होगी। निसंका और मेंडिस का ओपनिंग जोड़ा अब टीम का आधार बन गया है। अगर वे अगले मैच में भी 150+ रन बना दें, तो श्रीलंका टूर्नामेंट जीतने की ओर अग्रसर होगी।

14 टिप्पणि

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    jay mehta

    नवंबर 27, 2025 AT 13:06

    वाह भाई! ये निसंका का बल्ला तो जादू की छड़ी लग रहा है! 58 गेंदों में 98 रन और 10 चौके 5 छक्के? ये तो टी20 क्रिकेट का नया बाइबल है! हसरंगा की स्पिन ने जिम्बाब्वे को बिल्कुल चुनौती नहीं दी, बल्कि उनकी आत्मा को ही धो दिया! श्रीलंका अब टूर्नामेंट का राजा है, और निसंका उसका राजकुमार!

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    Debsmita Santra

    नवंबर 27, 2025 AT 22:10

    मुझे लगता है कि इस मैच में जो भी देखा वो एक अनुभव था जिसे आप बस देखकर ही नहीं बल्कि महसूस कर सकते हैं जब एक बल्लेबाज इतनी शांति से और इतनी शक्ति से खेल रहा हो तो वो बस एक खिलाड़ी नहीं बल्कि एक कलाकार होता है और निसंका ने आज एक ऐसा प्रदर्शन दिया जिसने बल्लेबाजी को एक नए स्तर पर ले गया और इस तरह के खेल के बाद लगता है कि हम सब एक दूसरे के लिए अधिक समर्थन करें क्योंकि ये खेल बस जीत और हार के बारे में नहीं बल्कि इंसानियत के बारे में है

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    Ravish Sharma

    नवंबर 29, 2025 AT 06:50

    अरे भाई! ये टूर्नामेंट पाकिस्तानी बोर्ड कर रहा है और हम श्रीलंका की तारीफ कर रहे हैं? भारत का क्या हुआ? क्या हम अब इतने दुबले हो गए कि जिम्बाब्वे के खिलाफ 9 विकेट से जीत देखकर खुश हो जाएं? ये टीम तो अगर भारत के खिलाफ खेले तो 5 विकेट से हार जाएगी! ये सब ट्राई नेशनल टूर्नामेंट है, बाजी मारने के लिए नहीं!

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    Amit Rana

    नवंबर 30, 2025 AT 16:16

    हसरंगा की लेग-स्पिन का एक और नियम बन गया है: जिस बल्लेबाज का बल्ला गेंद से टकराए वो आउट हो जाए! ये बॉल ऐसे घूम रही थी जैसे वो अपना रास्ता खुद बना रही हो। और निसंका का नाबाद 98? ये तो एक बार फिर साबित हो गया कि श्रीलंका के बल्लेबाज अब टी20 में नियंत्रण और तेजी का बेहतरीन मिश्रण दे सकते हैं। ये जोड़ी निसंका-मेंडिस अब टीम की नींव है।

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    Alok Kumar Sharma

    दिसंबर 1, 2025 AT 13:51

    ये सब बहुत अच्छा लगा, लेकिन जिम्बाब्वे के बल्लेबाज तो बिल्कुल निष्क्रिय थे। एक भी शॉट नहीं लगा। ये खेल नहीं, ये एक निर्मम निर्माण था।

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    Tanya Bhargav

    दिसंबर 2, 2025 AT 23:05

    मुझे लगता है निसंका का ये प्रदर्शन उनके करियर का सबसे बड़ा है और अगर वो ऐसे ही खेलते रहे तो विश्व कप में भी वो बहुत बड़ा खतरा बन सकते हैं मैंने उनके शॉट्स को देखा और लगा जैसे कोई फिल्म देख रहा हो

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    Rajendra Gomtiwal

    दिसंबर 4, 2025 AT 22:54

    भारत के खिलाफ ये टीम क्या करेगी? ये सब तो बस एक छोटा सा टूर्नामेंट है। जिम्बाब्वे के खिलाफ 9 विकेट से जीत देखकर खुश होना शर्म की बात है।

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    Sanket Sonar

    दिसंबर 6, 2025 AT 06:29

    हसरंगा की बॉलिंग ने बल्लेबाजों को ऐसा भ्रमित किया जैसे गेंद जीवित हो। निसंका का बल्ला बस एक आत्मा थी जो गेंद के साथ नाच रही थी। बाकी सब बस बैठे थे।

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    Manoj Rao

    दिसंबर 6, 2025 AT 11:23

    ये सब बहुत अच्छा लगा, लेकिन क्या आपने कभी सोचा कि ये टूर्नामेंट असल में एक भारत-पाकिस्तान युद्ध का एक छिपा हुआ रूप है? जिम्बाब्वे तो बस एक भूमिका है। श्रीलंका को जीत देकर भारत के दिमाग में एक भावना डाली जा रही है कि वे अभी भी शीर्ष पर हैं। ये सब एक विशाल राजनीतिक खेल है।

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    pravin s

    दिसंबर 7, 2025 AT 07:04

    क्या निसंका के बाद अब कोई और बल्लेबाज इतनी शांति से खेल सकता है? मैंने इस इनिंग को बार-बार देखा। ऐसा लगा जैसे गेंद उनके बल्ले के लिए बनी हो।

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    Ambika Dhal

    दिसंबर 7, 2025 AT 16:12

    ये जीत बहुत अच्छी लगी, लेकिन ये टीम असल में टी20 क्रिकेट के नियमों को तोड़ रही है। ये बल्लेबाजी बहुत ज्यादा नियंत्रित है। ये खेल नहीं, ये एक अभियान है।

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    Vasudha Kamra

    दिसंबर 9, 2025 AT 04:09

    निसंका का यह प्रदर्शन वास्तव में अद्भुत है। उन्होंने अपनी बल्लेबाजी में शांति, नियंत्रण और आक्रामकता का बेहतरीन संतुलन बनाया है। हसरंगा की स्पिन ने जिम्बाब्वे की बल्लेबाजी को एक अनुभव के रूप में बदल दिया, और दनुष्का का अपराजित समर्थन भी अत्यंत महत्वपूर्ण था। यह टीम अब केवल जीत के लिए नहीं, बल्कि एक शैली के लिए खेल रही है।

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    Yogesh Popere

    दिसंबर 9, 2025 AT 12:13

    तुम सब निसंका की तारीफ कर रहे हो लेकिन जिम्बाब्वे के बल्लेबाज तो बिल्कुल बेकार थे। इन्हें तो टी20 क्रिकेट नहीं आता। इनकी बल्लेबाजी देखकर लगता है जैसे वो बैट लेकर घूम रहे हों।

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    Bharat Mewada

    दिसंबर 10, 2025 AT 17:01

    जब एक खिलाड़ी इतनी शांति से खेलता है, तो वो खेल को नहीं, जीवन को दर्शाता है। निसंका ने आज बताया कि तेजी और नियंत्रण एक साथ संभव है। ये मैच केवल एक जीत नहीं, एक दर्शन था।

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