
9 years of PM Modi: भारतीय जनता पार्टी के लिए मई एक यादगार महीना है. क्योंकि इस महीने में ही नौ साल पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार सत्ता में आई थी. साल 2014 के मई महीने में ही गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में मशहूर नरेंद्र मोदी ने देश के पीएम के रूप में शपथ ली थी. हालांकि इस 9 साल में कई चीजों में बदला देखा जा सकता है. पिछले नौ वर्षों के दौरान, पीएम मोदी ने स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्रों में बड़े बदलाव लाने वाले विभिन्न कार्यक्रमों और पहलों की अगुवाई की. इस दौरान उन्होंने कई ऐसे डिसीजन लिए जिसका प्रभाव अभी भी राजनीतिक पटल पर देखा जा सकता है. इन 9 वर्षों में कई ऐसे स्कीम्स भी लागू हुए जिसे काफी सराहा गया तो कहीं आलोचना भी हुई. आइए देखते हैं प्रधानमंत्री के रूप में नरेंद्र मोदी द्वारा उठाए गए ऐसे ही महत्वपूर्ण 9 कदम, जिसका असर दूरगामी रहा है.
कोविड-19 टीकाकरण अभियान
भारत के कोविड-19 टीकाकरण की दुनिया भर में व्यापक रूप से सराहना की जा रही है. जिस वक्त पूरी दुनिया कोरोना में गिरफ्त में थी, उस वक्त भारत में निशुल्क और बड़े स्तर पर टीकाकरण अभियान चलाया जा रहा था. सबसे बड़ी बात यह थी कि इस दौरान इस्तेमाल में लाए जा रहे वैक्सीन स्वदेशी थे और इन्हें दुनिया के अन्य देशों में भी ‘वैक्सीन मैत्री’ पहल के नाम से भी भेजा जा रहा था.
नोटबंदी
8 नवंबर साल 2016 को रात 8 बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने टीवी पर आकर एक बहुत बड़े फैसले का एलान किया था. अपने संबोधन में पीएम मोदी ने रात 12 बजे 500 और 1000 के नोट को अवैध घोषित कर दिया था. इसके बाद से यह चलन से बाहर हो गए. एक झटके में नोट को चलन से बाहर कर देने वाले सरकार के फैसले से देशभर में खलबली मच गई. मोदी सरकार ने इसे काले धन पर एक प्रहार बताया था लेकिन विपक्ष पूरी तरह से सरकार पर हमलावर रही. इस निर्णय से पहले देश की अर्थव्यवस्था तेजी से बढ़ रही थी लेकिन इसके बाद जो ब्रेक लगी वो अभी तक जारी है. हालांकि इसमें अधिकतर योगदान कोरोना महामारी का भी है.
प्रधानमंत्री आवास योजना
मोदी सरकार ने 2015 में प्रधान मंत्री आवास योजना की शुरुआत की, जो सभी को सस्ते घरों तक पहुंच प्रदान करती है. मार्च 2020 के अंत तक उपलब्ध जानकारी के अनुसार, इस कार्यक्रम ने 2 करोड़ से अधिक लोगों को घर उपलब्ध कराए हैं.
आर्टिकल 370 को हटाना
पीएम मोदी की सरकार द्वारा किए गए सबसे महत्वपूर्ण भू-राजनीतिक फैसलों में से एक कश्मीर के विशेष दर्जे को खत्म करना था. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह द्वारा 5 अगस्त, 2019 को संसद में धारा 370 के तहत कश्मीर को दिए गए विशेष दर्जे को समाप्त करने के लिए एक याचिका प्रस्तुत की गई थी. इसको लेकर देश में काफी विवाद हुआ था लेकिन इसे मोदी सरकार के सबसे ठोस निर्णयों में से एक माना जाता है.
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि मोदी सरकार की एक पहल है जो किसानों को न्यूनतम आय सहायता के रूप में प्रति वर्ष ₹6,000 तक दी जाती है. 1 फरवरी 2019 को भारत के 2019 के अंतरिम केंद्रीय बजट के दौरान पीयूष गोयल द्वारा इस पहल की घोषणा की गई थी.
आजादी का अमृत महोत्सव
आजादी का अमृत महोत्सव भारत की आजादी की 75वीं वर्षगांठ का प्रतीक है. इस दौरान पूरे देश में कई रंगा-रंग कार्यक्रम भी चलाए जा रहे हैं. आजादी के अमृत काल के दौरान ही पीएम मोदी देश को नया संसद भवन समर्पित करेंगे.
जीएसटी
एक देश एक टैक्स की अवधारणा को ध्यान में रखते हुए 30 जून और 1 जुलाई के बीच संसद के सेंट्रल हाल में पीएम मोदी ने GST लॉन्च किया. इसके साथ ही सर्विस टैक्स और एक्साइज ड्यूटी समेत कई तरह के टैक्स समाप्त हो गए. यह अर्थव्यवस्था के लिहाज से ऐतिहासिक फैसला था. जब यह फैसला लागू किया गया था इस वक्त देश के कई बड़े अर्थशास्त्रीयों ने इसकी आलोचना की थी.
सर्जिकल स्ट्राइक
मोदी सरकार के सत्ता में आने के दो साल बाद ही 18 सितंबर 2016 को देश की तरफ आतंवादियों ने नजर टेढ़ी की थी. 2016 में जम्मू-कश्मीर के उरी कैंप में जैश-ए-मोहम्मद के चार आतंकियों ने भारतीय सेना के हेडक्वॉटर्स पर हमला कर 18 जवानों की हत्या कर दी थी. इस हमला के 10 दिन बाद आतंकवादियों के बेस कैंप पर सर्जिकल स्ट्राइक कर पीएम मोदी ने पाकिस्तान को सख्त संदेश दिया. सर्जिकल स्ट्राइक में करीब 50 से ज्यादा आतंकी मारे गए थे.
द रोड टू पीस: नॉर्थ ईस्ट इंडिया
पूर्वोत्तर क्षेत्र में शांति बहाल करने के लिए मोदी सरकार ने पिछले नौ वर्षों में कई बड़े कार्य किए हैं. नार्थ-ईस्ट के कई क्षेत्रों में उग्रवाद का सफाया हो गया है और विद्रोही समूहों को चर्चा की मेज पर लाया गया है जिससे क्षेत्र में शांति स्थापित हो सकी है. हालांकि बीते कुछ हफ्तों में नार्थ ईस्ट फिर से अशांत हुआ है लेकिन उसका वजह उग्रवाद नहीं है.